अगर आप भी मांगलिक है तो यह निवारण अवश्य करे।
ज्योतिष शास्त्र में मांगलिक दोष को एक महत्वपूर्ण दोष माना जाता है, जो व्यक्ति के वैवाहिक जीवन को प्रभावित कर सकता है। जब कुंडली में मंगल ग्रह 1, 4, 7, 8, या 12वें भाव में स्थित होता है, तो इसे मांगलिक दोष कहते हैं। इसे वैवाहिक जीवन में समस्याओं और देरी का कारण माना जाता है। इस दोष के कारण विवाह में रुकावट, दांपत्य जीवन में तनाव और आर्थिक कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है। मंगल को ऊर्जा और साहस का ग्रह माना जाता है, लेकिन इसकी अशुभ स्थिति रिश्तों और मानसिक शांति में बाधा डाल सकती है।
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जब मंगल ग्रह व्यक्ति की कुंडली के 1, 4, 7, 8, या 12वें भाव में स्थित होता है, तो इसे मांगलिक दोष कहा जाता है। यह दोष व्यक्ति के वैवाहिक जीवन में समस्याएं, तनाव, और रिश्तों में खटास पैदा कर सकता है। मंगल को "ऊर्जा और संघर्ष का ग्रह" माना जाता है, और इसकी अनुचित स्थिति वैवाहिक जीवन में बाधाएं उत्पन्न कर सकती है।
मांगलिक दोष एक सामान्य ज्योतिषीय समस्या है, लेकिन इसे सही उपायों और ज्योतिषीय सलाह से प्रभावी ढंग से कम किया जा सकता है। विवाह से पहले कुंडली का मिलान और मांगलिक दोष का उपचार करने से वैवाहिक जीवन को सुखमय बनाया जा सकता है।
मांगलिक दोष के प्रभाव
वैवाहिक जीवन: विवाह में देरी, वैवाहिक जीवन में कलह और तनाव।
आर्थिक स्थिति: अनावश्यक खर्च और आर्थिक अस्थिरता।
स्वास्थ्य: मानसिक तनाव और स्वास्थ्य समस्याएं।
पारिवारिक जीवन: पारिवारिक रिश्तों में अस्थिरता और गलतफहमियां।
मांगलिक दोष के लक्षण
- विवाह में बार-बार बाधाएं आना।
- वैवाहिक जीवन में सामंजस्य की कमी।
- बार-बार नौकरी या करियर में अस्थिरता।
- निर्णय लेने में कठिनाई और मानसिक अशांति।
मांगलिक दोष का निवारण कैसे करें?
a. विशेष पूजा और अनुष्ठान:
मंगल ग्रह को शांत करने के लिए हवन और पूजा।
हनुमानजी और मंगलदेव की विशेष पूजा करें।
b. मंत्र जाप:
"ॐ क्रां क्रीं क्रौं सः भौमाय नमः" मंत्र का जाप।
हनुमान चालीसा का नियमित पाठ।
c. रत्न धारण:
ज्योतिषाचार्य की सलाह से लाल मूंगा (कोरल) धारण करें।
d. दान और उपवास:
मंगलवार को लाल रंग की वस्तुएं, मसूर की दाल, और गुड़ दान करें।
हर मंगलवार उपवास रखें और हनुमानजी की पूजा करें।
e. कुंभ विवाह:
मांगलिक दोष के प्रभाव को कम करने के लिए "कुंभ विवाह" या पीपल के पेड़ से विवाह करवाएं।
f. अन्य उपाय:
शिवलिंग पर जल चढ़ाएं।
वैवाहिक जीवन में सामंजस्य बढ़ाने के लिए विवाह से पहले कुंडली मिलान करें।